नई दिल्ली,। पश्चिम बंगाल के राज्यपाल जगदीप धनखड़ ने आज तीन दिन में दूसरी बार केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह से मुलाकात की। बता दें कि धनखड़ ने शुक्रवार को अंतिम समय में राज्य की कानून व्यवस्था क
ी स्थिति पर केंद्रीय गृहमंत्री से चर्चा के लिए दिल्ली से कोलकाता लौटने का कार्यक्रम बदल दिया था। वह आज बंगाल लौटेंगे। पिछले कुछ हफ्तों में पश्चिम बंगाल में राजनीतिक हिंसा की घटनाओं को लेकर राज्यपाल ने चिंता जताई है। धनखड़ ने इससे पहले गुरुवार को राष्ट्रपति राम नाथ कोविन्द व गृहमंत्री अमित शाह से मुलाकात की थी। सूत्रों की मानें तो उन्होंने राष्ट्रपति व गृहमंत्री को बंगाल में कानून व्यवस्था की मौजूदा स्थिति पर रिपोर्ट सौंपी है और हस्तक्षेप करने का अनुरोध किया है। धनखड़ ने गुरुवार को राजधानी में बंगाल कांग्रेस अध्यक्ष अधीर रंजन चौधरी से भी मुलाकात की थी। राज्यपाल बुधवार को राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग के चेयरमैन जस्टिस अरुण कुमार मिश्रा से भी मिले थे। धनखड़ मंगलवार को दिल्ली पहुंचे थे। कोलकाता से उनके रवानगी से एक दिन पहले, भाजपा विधायकों के एक प्रतिनिधिमंडल ने उन्हें राज्य में कानून-व्यवस्था की खराब स्थिति को लेकर रिपोर्ट सौंपी थी। इसके बाद राज्यपाल ने संवाददाता सम्मेलन कर कहा था कि बंगाल में लोकतंत्र आखिरी सांसें गिन रहा है। दिल्ली रवाना होने से पहले उन्होंने मुख्यमंत्री को कड़ी चिट्ठी भी लिखी थी और चुनाव बाद हिंसा पर उनकी खामोशी पर सवाल उठाया था। उन्होंने आरोप लगाया था कि एक माह होने के बावजूद हिंसा को लेकर राज्य मंत्रिमंडल की बैठक में कोई चर्चा नहीं हुई है। उन्होंने ट्विटर पर इस पत्र शेयर किया था। उनके इस कदम की राज्य के गृह विभाग ने मानदंडों का उल्लंघन बताकर आलोचना की थी। तृणमूल ने राज्यपाल के दिल्ली दौरे पर सवाल उठाया है। बता दें कि गुरुवार को मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने हिंसा को सिरे से खारिज करते हुए केंद्र सरकार और राज्यपाल पर ही आरोप लगाए थे। इसके बाद कलकत्ता हाई कोर्ट ने शुक्रवार को तल्ख टिप्पणी करते हुए बंगाल में चुनाव बाद हुई हिंसा को लेकर ममता सरकार की भूमिका पर गंभीर सवाल उठाए। साथ ही हिंसा की जांच के लिए राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग को एक समिति गठित करने का निर्देश दिया
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