सोहना,(उमेश गुप्ता): स्थानीय खंड विकास एवं पंचायत अधिकारी कार्यालय ने ब्लॉक के गांव घंघौला में ग्रामपंचायत की मल्कियत वाले गैर मुमकिन रास्ते पर नाजायज कब्जा किए जाने के आरोप में सहायक कलेक्ट
र प्रथम श्रेणी सोहना की अदालत के पारित किए गए आदेश के बाद अवैध कब्जाधारकों को एक सप्ताह के भीतर अवैध कब्जा हटाने के लिखित आदेश दिए जाने से अवैध कब्जाधारकों में बेचैनी व हडक़ंप का माहौल है। खंड विकास एवं पंचायत अधिकारी द्वारा गांव घंघौला में रहने वाले अजीत पुत्र केहर सिंह, सुखीराम पुत्र रामरिक, देवी सिंह पुत्र चरण सिंह, महेश पुत्र शिवराम, राजपाल पुत्र कृष्ण, भूप सिंह पुत्र सुखपाल, उदयबीर पुत्र बालकृष्ण, जगलाल पुत्र सुखपाल, धर्मबीर पुत्र हेतलाल, रंजीत पुत्र हेतराम, हरिगोपाल पुत्र रतीराम, बीर सिंह पुत्र हीरालाल, श्यामबीर समेत चौदह जनों को जारी किए नोटिसों में कहा गया है कि निर्धारित समयावधि बीतने के बाद कब्जा ना हटाए जाने की सूरत में प्रशासन पुलिस की सहायता लेकर किए गए कब्जों को हटाने व तोडऩे का काम करेगा। खंड विकास एवं पंचायत अधिकारी परमिन्द्र सिंह ने बताया कि इस मामले में ग्रामपंचायत घंघौला बनाम चंदन इत्यादि केस न्यायालय सहायक कलेक्टर प्रथम श्रेणी सोहना के समक्ष विचाराधीन था, जिसमें न्यायालय ने अवैध कब्जों को हटवाए जाने के लिए बेदखली आदेश पारित किए है तथा अवैध कब्जे हटवाने के लिए सोहना के खंड विकास एवं पंचायत अधिकारी को वैलिफ नियुक्त किया गया है। साथ ही आदेश दिए गए है कि यदि अवैध कब्जाधारी खुद कब्जे ना हटाए तो पुलिस सहायता लेकर अवैध कब्जे को हटवाया जाए। काबिले गौर यह है कि पहले भी सोहना के गांव घंघौला में रहने वाले समाजसेवी व युवा भाजपा नेता चौधरी योगेन्द्र फौगाट ने सर्कल एसडीएम, उपायुक्त तथा पुलिस आयुक्त को लिखित में शिकायत देकर अपने ही गांव में मुख्य मार्ग पर लगे पंचायती बोरिंग हैंडपंप को तोडक़र रास्ते में अवैध कब्जा किए जाने का आरोप लगाया था। योगेन्द्र का आरोप रहा कि दबंगों की दबंगई पुलिस पर भी इस कदर भारी पड़ रही है कि निमोठ पुलिस चौकी में लिखित में शिकायत देने के बावजूद पुलिस ना जाने किस दबाव में आकर दबंगई दिखाने वाले लोगों के खिलाफ कार्रवाई करने की बजाय चुप्पी साध गई और दबंगों की दबंगई का आलम ये कि उन्होने मुख्य रास्ते पर अवैध कब्जा कर मकान, पशुओं की पक्की खोर बनाने के साथ-साथ रास्ते को बाधित कर दिया। जिससे लोगों को आवाजाही में दिक्कतें आ रही है। उन्होने अपने ही गांव में रहने वाले करीब दर्जन भर लोगों पर रास्ते पर अवैध कब्जा कर चारदीवारी बनाए जाने, अपने मवेशियों को कब्जाई गई जगह पर बांधे जाने और ब्लॉक समिति फंड से लगाए गए हैडपंप को खोलकर उठा ले जाने, कूड़ेदान को चुराने और पंचायती बोरिंग में अपना निजी सबमर्शिबल मोटर डालकर पशुओं को नहलाने जैसे गंभीर आरोप लगाते हुए उपरोक्त अधिकारी को दी गई शिकायत में बताया था कि ऐसे हालातों से रास्ते में गढढे हो गए। टाईलें उखड़ गई और विरोध करने वालों को धमकाया-डराया जा रहा है तथा जान से मारने की धमकी दे झूठे मामले दर्ज कराने की धमकी दी जा रही है।
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