सोहना,(उमेश गुप्ता): कोरोना संक्रमण से बचाव के लिए लोग संक्रमण रोधी टीका लगवाने के लिए स्वेच्छापूर्वक आगे आ रहे है। टीकाकरण केन्द्रों पर पहले से ऑनलाइन पंजीकरण के जरिए अपना पंजीकरण कराने वाल
लोग अपना आधारकार्ड लेकर टीकाकरण केन्द्रों पर पहुंच रहे है लेकिन इन सबके बीच एक ऐसा सनसनीखेज मामला सामने आया है, जिसमें एक महिला को सरकारी स्वास्थ्य केन्द्र पर गए बिना ही वैक्सीन की दूसरी डोज लग गई। दिलचस्प ये है कि महिला को इसका पता उस वक्त चला, जब महिला के मोबाइल पर उसे दूसरी डोज सफलतापूर्वक लगवाने की बधाई का मैसेज मिला। मैसेज को पढक़र महिला सकते में रह गई। दिलचस्प बात ये है कि मोबाइल पर मैसेज में उसे वैक्सीनेशन प्रमाणपत्र भी साथ भेजा गया है जबकि महिला व उसके बेटे की माने तो महिला दूसरी डोज लगवाने गई ही नही थी। अब महिला को यही चिंता खाए जा रही है कि उसे वैक्सीन की दूसरी डोज लगवाने के लिए फिर से पंजीकरण कराना पड़ेगा या स्वास्थ्य विभाग उन्हे दूसरी डोज लगा देगा। इस अजीबोगरीब मामले की शिकायत महिला के पुत्र ने केन्द्रीय स्वास्थ्यमंत्री से लेकर प्रदेश के मुख्यमंत्री, स्वास्थ्यमंत्री और उपायुक्त से भी सोशल मीडिया के माध्यम से की है तो स्वास्थ्य विभाग की तरफ से इसे तकनीकी दिक्कत बताया जा रहा है। महिला के पुत्र सुधांशु गुप्ता ने बताया कि उन्होने अपनी मां को वैक्सीन की दूसरी डोज लगवाने के लिए ऑनलाइन अपाइंटमेंट ली थी। उन्हे अठाईस अप्रैल को प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र लक्ष्मण विहार पर आकर सुबह 11 बजे से दोपहर एक बजे के बीच वैक्सीन लगवाने की ऑनलाइन अपाइंटमेंट मिली थी। सुधांशु गुप्ता के मुताबिक वह किसी कारणवश अपनी मां को टीका लगवाने उस दिन प्राथमिक स्वास्थ्य केन्द्र पर नही ले जा सके। बावजूद इसके अगले ही दिन उनत्तीस अप्रैल को उन्हे फोन पर उनकी मां को वैक्सीन की दूसरी डोज लगने का मैसेज प्राप्त हुआ। साथ ही उनत्तीस अप्रैल को सुबह सवा दस बजे उनकी मां को कोविशील्ड वैक्सीन की दूसरी डोज सफलतापूर्वक लगने पर बधाई भी दी गई और मैसेज में एक लिंक भी भेजा गया, जिसमें दूसरी डोज का वैक्सीनेशन प्रमाणपत्र था। सुधांशु गुप्ता अब इस बात को लेकर असमंजस में है कि उन्हे मां को वैक्सीन की दूसरी डोज लगवाने के लिए क्या करना होगा? मां को वैक्सीन की दूसरी डोज लगवाने के लिए फिर से पंजीकरण कराना पड़ेगा या स्वास्थ्य विभाग उन्हे दूसरी डोज लगा देगा।
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