सोहना उमेश गुप्ता: मत्स्य पालन व्यवसाय अपनाकर बेरोजगार ना केवल रोजगार प्राप्त कर सकते है बल्कि मत्स्य व्यवसाय तरक्की व खुशहाली का आधार है। इस व्यवसाय में सबसे बड़ी बात ये है कि खेती में फिर भ
ी अंधड, बरसात, तूफान, प्राकृतिक आपदा का डर रहता है। मत्स्य पालन एक ऐसा उद्योग है, जिसमें किसी भी तरह के किसी नुकसान का कोई डर नही है। रविवार को यहां पर आयोजित किसान संगोष्ठी में बोलते हुए जिला मत्स्य पालन अधिकारी धर्मेन्द्र सिंह परमार ने बताया कि किसानों को अधिक से अधिक तादाद में मत्स्य पालन व्यवसाय से जुडऩा चाहिए। मत्स्य व्यवसाय के लिए क्षेत्र व प्रदेश बहुत ही उपयुक्त स्थानों में शुमार है। विभाग व सरकार की तरफ से किसानों को मत्स्य पालन के प्रति प्रेरित करने के लिए बेहतर सुविधाएं मुहैया कराई जा रही है तो अनुदान भी दिया जा रहा है। अच्छी बात ये है कि मत्स्य पालन व्यवसाय में नाममात्र की लागत पर बिना किसी नुकसान के सबसे ज्यादा मुनाफा है। इसलिए किसानों को इस तरफ ध्यान देना होगा। किसानों का मुनाफा सीड पर निर्भर करता है। अगर मछली का बच्चा अच्छी किस्म का होगा तो किसान का मुनाफा उतना ही ज्यादा बढ़ेगा। इस व्यवसाय में 50 प्रतिशत मुनाफा है लेकिन इस व्यवसाय से जुड़े किसानों को सजग रहना होगा। तभी वह ज्यादा मुनाफा ले पाएंगे।
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