सोहना,(उमेश गुप्ता): सोहना शहर के वार्ड-पंद्रह के मोहल्ला कायस्थवाडा में रहने वाली बुजुर्ग महिला वीना देवी के घर में घुसकर लूटपाट के बाद महिला को घायल करने व अस्पताल में हुई महिला की मौत के बाद
चिकित्सकों ने बुजुर्ग महिला वीना देवी धर्मपत्नी स्वर्गीय जगदीश चंद्र आर्य के शव का पोस्टमार्टम कर शव परिजनों को सौंप दिया गया। वीना देवी का दाह संस्कार शहर में दमदमा रोड स्थित स्वर्गआश्रम में भारी पुलिसबल की मौजूदगी व गमगीन माहौल में अंतिम संस्कार किया गया। पूरा स्वर्गधाम पुलिस छावनी बना नजर आया। दाह संस्कार में शहर के साथ-साथ आसपास लगते गांवों के लोग भी मौजूद रहे। मृतक बुजुर्ग महिला श्रीमती वीना देवी सिंघल के शव को नागरिक अस्पताल में पोस्टमार्टम के बाद सीधे उनके पैतृक घर लाया गया। यहां से शवयात्रा स्वर्गधाम पहुंची, जहां लंदन से स्वदेश लौटे मृतक बुजुर्ग महिला वीना देवी के पुत्र रवि आर्य ने मृतका को मुखाग्नि दी। सादा लिबास में पुलिस जवान और हरियाणा पुलिस की गुप्तचर शाखा के कर्मचारी भी पल-पल की घटनाओं पर बारीकी से निगाह रखे हुए है। परिजनों का कहना है कि किसी को भी सपने में यह अनुमान नही रहा कि उनके घर में कोई अनहोनी होने वाली है। हादसे के बाद पूरा परिवार गहरे सदमे में डूबा हुआ है। मृतका के पुत्र रवि आर्य का कहना है कि उन्हे मां की मौत से गहरा सदमा लगा है। हत्यारा चाहे कोई भी हो, उसे कड़ी से कड़ी सजा मिलनी चाहिए। अपनी मां वीना देवी के साथ बिताए पलों को याद करते-करते रवि आर्य एकदम रो पड़ते है और बताते है कि उनके सिर से पिता का साया पहले ही उठ गया और अब उनकी मां की भी हत्या कर दी गई। आस-पड़ोस में रहने वाले लोगों का कहना है कि श्रीमती वीना देवी बहुत ही मिलनसार थी और बहुत ही धार्मिक व परोपकारी प्रवृति वाली महिला थी। उनसे जो भी एक बार मिलता था, उसे अपनेपन का एहसास होता था। श्रीमती वीना देवी की हत्या से पीडि़त परिवार को गहरा सदमा लगा है। ऐसी किसी को उम्मीद भी नही थी कि आरोपी लूटपाट के बाद इतनी बेरहमी से लकड़ी के डंडों और लोहे की छड़ रूपी बैत से इतनी बेरहमी से उसकी पिटाई करेगा कि उसकी जान ही ले लेगा। परिजनों का रो-रोकर बुरा हाल है। ऐसे में कठोर से कठोर हृदय वाले व्यक्ति की आंखें भी एक बार आंसूओं से लबालब हो जाती है। ध्यान योग्य ये है कि शहर के वार्ड-पंद्रह के मोहल्ला कायस्थवाड़ा में ओम शांति केन्द्र के सामने लाला गडडरमल ग्यासीराम परिवार के लाला जगदीश आर्य की हवेली है, जिसमें आढ़त गल्ला कारोबार करने वाले लाला जगदीश चंद्र आर्य अपने परिवार के साथ रहते थे। परिवार में पत्नी के साथ-साथ एक पुत्र व पुत्री थे। पुत्री का विवाह होने पर वह आस्ट्रेलिया में रह रही है जबकि पुत्र रवि आर्य अपनी पत्नी व बच्चों के साथ लंदन में ही रह रहे है। लाला जगदीश चंद्र आर्य का वर्ष-2013 में देहांत हो गया। तभी से लाला जगदीश चंद्र की धर्मपत्नी श्रीमती वीना सिंघल हवेली में अकेले ही रहती थी जबकि लाला जगदीश चंद्र के 3 अन्य भाई शहर में ही अलग-अलग स्थानों पर कारोबार करते हुए अपने-अपने परिवारों के साथ-साथ रह रहे है। श्रीमती वीना सिंघल रोजाना भोर सवेर 4-5 बजे जाग जाती थी और प्रतिदिन शौच आदि से निवृत होकर चाय पीने के बाद हवेली के मेन गेट वाले दरवाजों की सांकल खोलने के बाद दरवाजों को आपस में मिलाकर छोड़ देती थी ताकि जब काम वाली घर में काम के लिए आए तो वह दरवाजे खोलकर हवेली में आ सके। वारदात वाली सुबह श्रीमती वीना सिंघल की हवेली में सफाई कार्य करने वाली मेड हवेली के मेन गेट के दरवाजे खोलकर जैसे ही भीतर गई तो उसे चौक में गृह मालकिन श्रीमती वीना सिंघल खून से लथपथ और लहुलूहान हालत में कराहते हुए जमीन पर पड़ी मिली। ऐसे नजारे को देख वह बुरी तरह डर गई और तुरंत ही हवेली के पास वाली एक किरयाणा दुकान व चक्की पर पहुंच कर हादसे से अवगत कराया। चक्की संचालक ने तुरंत पूरे मामले से अनाजमंडी में रहने वाले स्वर्गीय लाला ग्यासीराम जी के पुत्र व गल्ला व्यापारी एसोसिएशन के प्रधान और आर्यसमाज के अध्यक्ष तथा अग्रवालसभा के कोषाध्यक्ष महेश आर्य को अवगत कराया, जो तुरंत घटनास्थल पर पहुंच गए। तुरत-फुरत में श्रीमती वीना सिंघल को उपचार के लिए अस्पताल ले जाया गया, घावों की पीड़ा ना सहते हुए बुजुर्ग श्रीमती वीना सिंघल ने दम तोड़ दिया। चाहे इस मामले में पुलिस ने एक किशोर को गिरफ्तार कर लूटी गई नकदी में से कुछ रकम व मोबाइल बरामद करने का दावा किया है। बावजूद इसके आज भी शहर में चंहु ओर बुजुर्ग महिला की गई हत्या हर गली, मोहल्ले और चौराहे पर चर्चा का विषय बनी हुई है। लोग यह नही समझ पा रहे है कि बुजुर्ग महिला श्रीमती वीना सिंघल की हत्या से किसी को क्या लाभ हो सकता है? जिस किशोर को पुलिस ने हत्या के आरोप में गिरफ्तार किया है, वह किशोर इस हवेली में कब और कैसे घुसा, उसके साथ इस वारदात में और कौन-कौन संलिप्त रहा है, उसको इस बात की जानकारी कैसे रही कि श्रीमती वीना देवी हवेली में अकेली रहती है और वारदात को अंजाम देने के लिए उसने वही समय किस आधार पर चुना? लोगों को यह बात तनिक भी हजम नही हो रही है कि वीना हत्याकांड को पुलिस पकड़ में आए किशोर ने अकेले ही अंजाम दिया है और मात्र 30 हजार रुपए व मोबाइल के लिए महिला की जमकर इतनी पिटाई गई कि उसने दम ही तोड़ दिया।
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