सोहना बाबू सिंगला सोहना क्षेत्र के पशु अस्पताल व डिस्पेंसरियाँ बगैर स्टाफ के घिसट घिसट कर चल रहे हैं। उक्त पशु चिकित्सालयों में स्टाफ का टोटा है। जिसके कारण अस्पतालों के कार्य बाधित हो रहा
ै। तथा पशु पालकों को भी इलाज के लिए धक्के खाने पड़ रहे हैं। वहीं विभाग ने कई बार सरकार व प्रशासन को रिक्त पदों को भरने के लिए लिखित पत्र प्रेषित किये हैं किंतु आज तक भी पदों को भरा नहीं जा सका है। सोहना के पशु अस्पताल बगैर स्टाफ के सुनसान हैं। पशुपालक बगैर स्टाफ के मायूस हैं। जिनके पशुओं का इलाज समय पर नहीं हो रहा है। इसके अलावा लंपी वायरस महामारी फैलने के बाबजूद कई डॉक्टर लंबी छुट्टी पर हैं। ऐसा होने से विभाग के अस्पताल घिसट घिसट कर चल रहे हैं। सूत्र बताते हैं कि डॉक्टरों की अनुपस्थिति में प्रशासनिक व चतुर्थ श्रेणी के कर्मचारी इलाज का जिम्मा निभा रहे हैं। विदित है कि सोहना खण्ड में चार पशु चिकित्सालय क्रमशः गाँव सोहना, अभयपुर, भोंडसी व बादशाहपुर टेंठड में स्थापित हैं। जिनमें ढेरों पद काफी समय से रिक्त हैं। जिनको भरने की आज तक भी सुध नहीं ली गई है। उक्त चिकित्सालयों में केवल मात्र भोंडसी में पशु चिकित्सक का पद भरा हुआ है। जबकि तीनों चिकित्सालयों में डॉक्टर काफी समय से लंबी छुट्टी पर हैं। इसके अलावा सोना चिकित्सालय में सरकार ने कंपाउंडर के 2 पद सृजित किए हुए हैं। जिनमें दोनों ही पद काफी अरसे से रिक्त पड़े हैं। इसी प्रकार भोंडसी में एक पद सृजित है वह भी खाली है। अभयपुर में भी एक पद सरकार ने सृजित किया हुआ है वो भी रिक्त है। केवल मात्र बादशाहपुर टेंठड में सरकार ने एक पद कंपाउंडर का सृजित किया हुआ है जो भरा है।इसके अलावा सभी पशु चिकित्सालयों में एनिमल अटेंडेंट के पद रिक्त हैं तथा सफाई कर्मचारी के पद सोहना के अलावा सभी पशु चिकित्सालय में काफी समय से भरे नहीं गए हैं। पशु औषधालय भी वीरान खंड में 8 पशु औषधालय स्थापित किए हुए हैं। जिनमें अधिकांशत: पद रिक्त पड़े हैं। जिनको सरकार ने भरने की आज तक भी सुध नहीं ली है। खंड में गांव करंकी खेड़ली,हाजीपुर,मंडावर, गहगोला, सिरमथला,बहलपा, गढ़ीबाजिदपुर,अलीपुर में पशु औषधालय स्थापित है। जिनमें स्टाफ न होने से पशुपालक अपने पशुओं को इलाज कराए बिना ही लौट जाते हैं।औषधालयो में मात्र दो स्थानों क्रमशः बहलपा अलीपुर में कंपाउंडर नियुक्त है। जबकि 6 औषधालय बगैर कंपाउंडर के चल रहे हैं। इसी प्रकार करंकी खेड़ली में एनिमल अटेंडेंट का पद रिक्त है तथा सभी पशु औषधालय में सफाई कर्मचारी के पद वर्षो से रिक्त हैं। भाग के जिम्मे में 52 गांव पशु विभाग 52 गांवो का भार उठा रहा है। जिनके इलाज की जिम्मेवारी पशु विभाग की है। खंड में करीब 35 हजार पशु है। जिनमें 11829 गाय हैं। इसके अलावा 20706 भैंस, 245 सूअर, 277 भेड़ व 1959 बकरियां है। क्या कहते हैं विभाग एसडीओ पशु विभाग के एसडीओ डॉ सुरेंद्र यादव बताते हैं कि लंपी वायरस के लिए वैक्सीनेशन का कार्य पूरा कर लिया गया है। जिनमें काफी गाय रिकवर भी हो चुकी है। उन्होंने यह भी बताया कि विभाग में काफी पद वर्षो से रिक्त हैं। जिनको आज तक भी नहीं भरा गया है।
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