नई दिल्ली, शनिवार, 12 मार्च को भारत अपना चौथा डे-नाइट मैच श्रीलंका के खिलाफ खेलेगा। टीम ने आखिरी डे-नाइट टेस्ट फरवरी 2021 में इंग्लैंड के खिलाफ खेला था। आइए जानते हैं कि डे-नाइट टेस्ट जिसे पिंक बाल
ेस्ट भी कहा जाता है कि कैसे ये अन्य से अलग होता है। डे-नाइट टेस्ट में लाल गेंद की जगह पिंक गेंद का इस्तेमाल किया जाता है इसलिए इसे पिंक बाल टेस्ट कहते हैं। ऐसा इसलिए किया जाता है क्योंकि पिंक गेंद लाइट्स में ज्यादा नजर आती है। कब खेला गया था पहला पिंक टेस्ट मैच? पहला पिंक बाल टेस्ट मैच 2015 में न्यूजीलैंड और आस्ट्रेलिया के बीच खेला गया था। इस मैच को आस्ट्रेलिया ने 3 विकेट से जीता था और ऐसा करने वाली पहली टीम बनी थी। गेंदबाजों के लिए मददगार माना जाता है पिंक बाल टेस्ट पिंक बाल टेस्ट को गेंदबाजों के लिए मददगार माना जाता है क्योंकि लाइट्स में गेंद ज्यादा स्विंग होती है। आस्ट्रेलिया के जैश हेजलवुड पहले ऐसे गेंदबाज हैं जिन्होंने पिंक बाल टेस्ट में 5 विकेट लिए थे। पिंक बाल टेस्ट में आस्ट्रेलिया का पलड़ा भारी रहा है। आस्ट्रेलिया ने 10 मैच खेले हैं और हर मैच में उसे जीत मिली है। उस्मान ख्वाजा पिंक बाल टेस्ट में शतक लगाने वाले पहले बल्लेबाज हैं। पिंक बाल टेस्ट मैच रिकार्ड पिंक बाल टेस्ट मैच आस्ट्रेलिया से सबसे ज्यादा स्कोर बनाया है। टीम के नाम 3 विकेट पर 589 रन बनाने का रिकार्ड है जो उसने पाकिस्तान के खिलाफ बनाया था। इस मैच में डेविड वार्नर ने नाबाद 335 रनों की पारी खेली थी जो पिंक बाल टेस्ट में किसी खिलाड़ी द्वारा खेली गई सर्वश्रेष्ठ पारी है। सबसे कम स्कोर की बात करें तो इसमें भारतीय टीम का नाम है। भारत को आस्ट्रेलिया ने एडिलेड ओवल में 9 विकेट पर 36 रन बनाने दिए थे। गेंदबाजी में देवेंद्र विशू पहले नंबर पर हैं जिन्होंने पाकिस्तान के खिलाफ 49 रन देकर 8 विकेट लिए थे।
Comments