ग्रामीणों में बना भय का माहौल छायंसा गांव में अब तक बुखार व डेंगू से हो चुकी हैं 10 मौतें हथीन/माथुर : हथीन के बहुचर्चित बुखार प्रभावित गांव छायंसा में शनिवार को दो बच्चों को मौत हो गई। जिसके चल
ते ग्रामीणों में अब और भय बना गया है। क्योंकि इससे पूर्व इसी गांव में बुखार व डेंगू के कारण 8 मौतें हो चुकी हैं। इस गांव के समाजसेवी नासिर ने बताया कि शनिवार को मुस्ताक की 4 महीने की पुत्री शैकुनिशा की बुखार के चलते मौत हो गई। जबकि वहीं वसीम के 8 महीना का पुत्र नेनिश की दिल्ली के एक हॉस्पीटल में इलाज के दौरान मौत हो गई है। उन्होंने बताया कि हालांकि स्वास्थय विभाग की टीमें गांव में 24 घंटे ओपीडी सेवाएं उपलब्ध करा रही हैं लेकिन जलभराव के कारण अभी भी भारी संख्या में मच्छर हैं। जिस वजह से बीमारी फैली हुई है। उन्होंने बताया कि स्वास्थय विभाग की टीम ने गत दिनों पूर्व कई बच्चों को जिला हॉस्पीटल के लिए रैफर किया था, उनमें से 2 बच्चें की हालत में अभी कोई सुधार नहीं है। उन्होंने प्रशासन से मांग की है कि गांव में भरे जलभराव की निकासी की जाए, जिससे कि मच्छर न पनप सकें और बीमारी न फैले। वहीं गांव मलाई में भी एक 10 वर्षीय ओसामा नामक बच्चे की बुखार के चलते मौत हो गई है। जानकारी के अनुसार ओसामा को कई दिनों से बुखार था, जब उसे आराम नहीं मिला तो परिजन उसे नल्लहड मैडीकल कॉलेज के लिए ले गए, जहां से उसे दिल्ली रैफर कर दिया गया। दिल्ली ले जाते समय रास्ते में उसकी मौत हो गई।
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