हथीन/माथुर : राजकीय बहुतकनीकी, प्राइवेट बहुतकनीकी व अभियांत्रिकी कॉलेज में प्रवेश की प्रक्रिया जोरों से चल रही है। राजकीय बहुतकनीकी संस्थान मिंडकौला के प्रधानाचार्य डा. प्रताप सिंह चेची न
बताया है कि तीन वर्षीय डिप्लोमा व तीन वर्षीय डिप्लोमा वोकेशनल कोर्स के क्षेत्र के तीन राजकीय बहुतकनीकी संस्थान में इन दिनों प्रवेश की प्रक्रिया में विद्यार्थियों का रुझान व उत्साह बहुत अधिक चल रहा है। राजकीय बहुतकनीकी संस्थानों में दो चरणों की काउंसलिंग दिनांक 21 सितम्बर को खत्म हो चुकी है और अब निदेशालय व एचएसटीईएस के निर्देशों के आने के बाद संस्थान स्तर पर काउंसलिंग आरंभ की जाएगी। उन्होंने बताया कि राजकीय बहुतकनीकी संस्थानों में फीस नाममात्र की ही ली जाती है। छात्राओं व टीएफडब्लयू स्कीम के अंतर्गत गरीब बच्चों की ट्यूशन फीस पूरी तरह से माफ है। उन्होंने बताया कि मेवात और पलवल क्षेत्र में तीन राजकीय बहुतकनीकी संस्थान हैं। जिनमें विभिन्न विषयों में तीन वर्षीय डिप्लोमा इंजीनियरिंग कोर्स चलाए जा रहे हैं। राजकीय बहुतकनीकी संस्थान मिंडकौला में सिविल, इलेक्ट्रिकल, कंप्यूटर, मैकेनिकल व डीएमएलटी के कोर्स चलाए जा रहे हैं। उन्होंने बताया कि तीन वर्ष का डिप्लोमा कोर्स करने के उपरांत बच्चों को रोजगार मिलना तय होता है। विद्यार्थियों को ट्रेनिंग व कोर्स पूरा होने पर कैंपस प्लेसमेंट के द्वारा विभिन्न औद्योगिक क्षेत्रों में बहुराष्ट्रीय कंपनियों में रोजगार दिलवाया जाता है। उन्होंने बताया कि राजकीय बहुतकनीकी संस्थान उटावड़ में सिविल, इलेक्ट्रिकल, मैकेनिकल, इलेक्ट्रॉनिक व ओएमसीए का कोर्स चलाया जा रहा है। जबकि डी-फार्मेसी का दो वर्षीय डिप्लोमा भी चलाया जा रहा है। इसके अतिरिक्त प्रधानाचार्य डा. चेची ने बताया है कि उटावड़ में मेडिकल इमेजिंग टेक्नोलॉजी का डिप्लोमा वोकेशनल कोर्स चलाया जा रहा है, जो कि रोजगार के मेडिकल क्षेत्र में विद्यार्थियों को सुनहरा अवसर देता है। इसके अतिरिक्त प्रधानाचार्य ने बताया है कि इस क्षेत्र में प्राइवेट बहुतकनीकी संस्थान व प्राइवेट अभियांत्रिकी कॉलेज में विभिन्न कोर्स चलाए जा रहे हैं। उन्होंने बताया कि दोहरी शिक्षा प्रणाली के तहत विद्यार्थियों को प्रशिक्षित किया जाता है, ताकि उनको उद्योगों की आवश्यकता के अनुसार प्रशिक्षित किया जा सके। इस तरह ग्रामीण क्षेत्र के विद्यार्थियों को सरकार के द्वारा भविष्य में डिप्लोमा करने के उपरांत विशेष प्रकार की स्कीम दी जाती हैं, जैसे एंटरप्रेन्योरशिप के तहत अपना स्वयं का रोजगार खोलना व बैंकों द्वारा विभिन्न प्रकार के लघु उद्योगों स्थापित करना। उन्होंने बताया कि डिप्लोमा वोकेशनल कोर्स आरएसी के लिए विद्यार्थी 26 सितम्बर तक एप्लाई कर सकते हैं, जिसमें रोजगार की अपार संभावना है। विद्यार्थी नियमित रूप से संस्थान की वेबसाइट द्दश्चद्वड्डठ्ठस्रद्मशद्यड्ड.द्गस्रह्व.द्बठ्ठ पर विजिट कर तथा किसी भी दाखिला संबंधित जानकारी के लिए संस्थान के एडमिशन हेल्प डेस्क से संपर्क कर जानकारी ले सकते हैं।
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