जांच में भाग लेने के लिए शिकायतकर्ता सहित 3 कर्मचारियों को भी शामिल जांच नोटिस। धनेश विद्यार्थी, रेवाड़ी। रेवाड़ी रेडक्रॉस विभाग द्वारा 3 मृतकों के फर्जी फस्ट एड ट्रेनिंग सर्टिफिकेट बनाने के
मामले में 1 जुलाई को एसडीएम बावल द्वारा दोनों पक्षों को जांच के लिए एसडीएम कार्यालय में बुलाया हुआ है, जिसमें रेडक्रॉस व एसडीएम कार्यालय रेवाड़ी से 3 कर्मचारियों को जांच में शामिल होने के लिए बुलाया गया है। भार्गव ने ईमेल के जरिए डीसी रेवाड़ी, राज्यपाल हरियाणा, मुख्यमंत्री हरियाणा, हरियाणा राज्य रेडक्रॉस व एसडीएम रेवाड़ी को लिखा था कि उपरोक्त मामले की जांच एडीसी से कराई जाए। जिला उपायुक्त ने एडीसी की बजाय अब जांच का जिम्मा एसडीएम बावल को सौंपा है। बता दें रेवाड़ी में रेडक्रॉस सीएसआर सब कमेटी मेंबर एडवोकेट सुनील भार्गव को सूचना मिली कि रेडक्रॉस में ड्राइविंग लाइसेंस बनवाने के लिए 300 की जगह 800 से 1000 लेकर सिर्फ आधार कार्ड के माध्यम से एक दिन का फर्स्टएड ट्रेनिंग सर्टिफिकेट बनाया जा रहा है। पैसे देकर आप चाहे किसी मरे हुए व्यक्ति का भी फर्स्टएड सर्टिफिकेट बनवा लो। यह सुन सुनील भार्गव को विश्वास नहीं हुआ उन्होंने मामले की तह तक जाने के लिए एक व्यक्ति को मरे हुए व्यक्ति का आधार कार्ड भेज एक फर्स्टएड सर्टिफिकेट बनवाने के लिए भेजा। वह व्यक्ति फीस से अधिक (जैसा कि सुनील भार्गव ने बताया) एक हजार देकर मृतक का फर्स्टएड सर्टिफिकेट बनवा लाया। यह मामला मीडिया में आने के बाद डीसी यशेन्द्र सिंह ने इसकी जांच एसडीएम रेवाड़ी रविन्द्र यादव को सौंपी। लेकिन शिकायतकर्ता सुनील भार्गव ने रेवाड़ी के एसडीएम की जांच पर अविश्वास जताते हुए एडीसी या किसी उच्च अधिकारी से जांच कराने की मांग की थी। एडवोकेट भार्गव ने कहा कि वे इस मामले की जांच मीडिया के समक्ष करवाने का प्रयास करेंगे ताकि दूध का दूध, पानी का पानी हो सके। यदि मैं दोषी निकला तो सजा भुगतने को तैयार हूं।
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