खोजी/सुभाष कोहली। कालका। यह संसार प्रकृति की हवा पानी ग्रहों की अदृश्य ऊर्जा और अदृश्य शक्तियों से प्रभावित रहता है। जिस प्रकार सूर्य के अलग अलग राशियों में संचरण करने से अलग अलग प्रकार की श
द ऋतु! वर्षा ऋतु! ग्रीष्म या वसंत ऋतुएं धरती के सभी पेड़ पौधों, पशु पक्षियों पर अपना प्रभाव डालती हैं। उसी प्रकार अदृश्य ग्रह एवमं तारामंडल भी हमारा दिमाग! हमारा भाग्य! या सम्पूर्ण जलवायु को बदलते रहते हैं। अंतर्राष्ट्रीय अद्भुत ज्योतिष कार्यालय पिंजौर के संचालक शास्त्री सीता राम शुक्ला ने बताया कि इस वर्ष 2 जून 2021 से 20 जुलाई 2021तक शनि और मंगल का सम सप्तक योग बन रहा है एवमं इस बीच में शुक्र सूर्य भी शनि की सीधी दृष्टि पर आएंगे, जिस कारण देश या प्रदेशों में भारी जन-धन हानि के योग बन रहे हैं। चूंकि शनि न्याय का देवता है और मंगल पुलिस मलेट्री का स्वामी है। सूर्य भी राजा का कारक माना जाता है, इस कारण कई जगहों पर भूकंप!आग की दुर्घटना! महामारी का उग्र रूप! सत्ता परिवर्तन या मुख्य मंत्री परिवर्तन! किसान आंदोलन स्थगित करवाने का प्रयास अथवा किसी भी प्रकार की विद्रोह की स्थिति की संभावना बन सकती है। 23 मई से 11 अक्तूबर तक शनि देव वक्री भी रहेंगे, जिस कारण यह सभी समस्या अक्तूबर तक जा सकती है। इन सभी समस्याओं से बचने के लिए जनता को शनि देव की पूजा आराधना करनी चाहिए और सरकारों को हनुमान जी की आराधना करते हुए सभी फोर्स को मजबूत करना चाहिए, सीबीआई-सीआईडी-न्याय पालिका सबकी बात ध्यान से सुनना चाहिए। पुलिस मलेट्री अर्थात मंगल को खुश रखना चाहिए। क्योंकि ग्रहों का टक्कर फोर्स की आवश्यकता अधिक बताता है। चूंकि यह समय महामारी के उग्र रूप का समय है इस समय तक मौत का आंकड़ा दस लाख को भी पार कर सकता है, इसलिए जनता भी जरूरी काम से ही बाहर निकले मास्क, सेनेटाइजर, दवाई, परहेज और सरकार तथा डॉक्टर की गाइडलाइन का पूरा ध्यान रखे।
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