खोजी/सुभाष कोहली। कालका। देश में चल रही कोरोना की दूसरी लहर हर दिन विकराल होती जा रही है। पूरा देश इसकी चपेट में आ चुका है। देशभर में लगभग 4 लाख नए कोरोना संक्रमण मरीज आने की संख्या के लिहाज से भ
ारत दुनिया में पहले स्थान पर पहुंच गया है, जोकि बहुत बड़ी चिंता की बात है। यह कहना है मानवाधिकार एवं सामाजिक न्याय संगठन (रजि.) के राष्ट्रीय अध्यक्ष सचिन जैन का। जैन का कहना है कि यदि कोरोना संक्रमित मरीजों का मिलने का सिलसिला इसी रफ्तार से बढ़ता रहा तो आने वाले कुछ दिनों में ही भारत में प्रतिदिन चार लाख से अधिक कोरोना मरीज मिलने लगेंगे। कोरोना के बढ़ते प्रभाव को काबू में करने के लिए केंद्र व राज्यों सरकारों द्वारा अपने-अपने स्तर पर प्रयास किये जा रहे हैं। मगर सरकारी प्रयासों के बावजूद भी कोरोना संक्रमितों के आने की संख्या में कमी नहीं हो पा रही है। ऐसी स्थिति का मुकाबला करने के लिए केंद्र सरकार युद्ध स्तर पर कार्य कर रही है। कोरोना संक्रमित लोगों की संख्या में बढ़ोतरी के साथ ही देश में आक्सीजन की भयंकर कमी महसूस की जा रही है। आक्सीजन की भयंकर कमी के चलते बड़ी संख्या में कोरोना संक्रमित लोगों की मौतें भी हो रही हैं, जो सभ्य समाज के लिए शर्मनाक है। जैन का कहना है कि हाल ही में देश में उपजे आक्सीजन विवाद के चलते कई राज्यों में उच्च न्यायालय को दखल देना पड़ा। सरकारी अस्पतालों में आक्सीजन बनाने के प्लांट लगाने के लिए धनराशि जारी होने के उपरांत भी राज्य सरकारों द्वारा अभी तक आक्सीजन संयंत्र लगाने की दिशा में कोई कार्रवाई नहीं की गई, जबकि यदि समय रहते अस्पतालों में आक्सीजन प्लांट लगा लिए जाते तो आज देश को विकट स्थिति का सामना नहीं करना पड़ता। देश में ना तो नए अस्पताल बनाने की शुरुआत की गई, ना ही चिकित्सा से सम्बंधित अन्य उपकरण व दवाइयों के क्षेत्र पर विशेष ध्यान दिया गया। कोरोना संक्रमण के बाद हालात ऐसे बन गए कि विकास कार्यों की बजाय सरकार को लोगों की जान बचाने की तरफ अधिक ध्यान देना चाहिए था, मगर ऐसा नहीं किया गया। देश में जीवन रक्षक दवाइयों, आक्सीजन, ऑक्सिमीटर आदि की कालाबाजारी पर रोक लगाने की अति आवश्यकता है, सरकार को इस तरफ ध्यान देना चाहिए। जैन का कहना है कि देश की जनता को अभी सबसे अधिक चिकित्सा सुविधाओं की आवश्यकता है। कोरोना संक्रमण के समय में यदि हम लोगों की जान बचाने में सफल हो जाते हैं तो विकास कार्य करवाने के लिए आगे बहुत समय मिलेगा। इस समय केंद्र व राज्य सरकारों को अपना पूरा बजट चिकित्सा व्यवस्था को मजबूत करने पर खर्च किया जाना चाहिए। संगठन की इकाई हरियाणा के पदाधिकारी चन्द्रकान्त शर्मा, अनिल कुमार, ललित धीमान, अख्तर फारूकी, अजीत सिंह, पुनीत भास्कर, विपुल मंगला, सुभाष चंद्र आदि ने चिंता व्यक्त करते हुए अपील की है कि राज्य सरकारों को चाहिए की सभी अस्पतालों में आक्सीजन उत्पादन संयंत्रों की स्थापना शीघ्रता से करवाएं जिससे आक्सीजन की किल्लत समाप्त हो सके।
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