किसानों का आह्वïान- खेतों मेें न जलाएं पराली, चारे के रूप में करें उपयोग नूंह, 11 अक्टूबर- उपायुक्त धीरेंद्र खडग़टा ने बुधवार को लघु सचिवालय परिसर से फसल अवशेष प्रबंधन के लिए किसानों को जागरू
करने के लिए कृषि विभाग की ओर से चलाई जा रही मोबाइल वैन को हरीझंडी दिखाकर रवाना किया। उपायुक्त ने इस अवसर पर पत्रकारों से बातचीत में कहा कि पराली व फसल अवशेष जलाने से बड़े स्तर पर वायु प्रदूषण होता है, जोकि जनजीवन के स्वास्थ्य के लिए खतरनाक होता है। आज जो मोबाइल वैन शुरू की गई है, उसका उद्देश्य प्रत्येक गांव के एक-एक किसान को फसल अवशेष जलाने से होने वाले नुकसान के प्रति जागरूक करके फसल अवशेषों का कृषि यंत्रों के माध्यम से उचित प्रबंधन करने के लिए प्रेरित करना है। उन्होंने कहा कि यह मोबाइल वैन ऐसे समय में शुरू की जा रही है, जब धान व अन्य खरीफ सीजन की फसलों की कटाई शुरू हो चुकी है और इस समय किसानों को जागरूक होना जरूरी है, ताकि पराली जलाने पर पूर्ण रोक लगाना संभव हो सके। उपायुक्त ने कहा कि फसल अवशेष जलाने से रोकने के लिए गंभीर कदम उठाए गए हैं। इसी दिशा में कृषि विभाग की ओर से किसानों को बार-बार जागरूक किया जाता है। आमजन जब इस दिशा में जागरूक होगा तो इसके सकारात्मक परिणाम आएंगे तथा इससे पर्यावरण संरक्षण भी सुनिश्चित होगा। उन्होंने कहा कि किसान अगर पराली का चारे के रूप में उपयोग करेंगे तो इससे चारे की समस्या भी खत्म होगी और भूमि की उर्वरा शक्ति भी बनी रहेगी। उपायुक्त ने मोटे अनाज की फसलों को बढ़ावा देने पर दिया बल - उपायुक्त धीरेंद्र खडग़टा ने बताया कि कृषि विभाग की ओर से चलाई जा रही जागरुकता वैन के माध्यम से किसानों को मोटे अनाज की फसलें उगाने बारे भी जागरूक किया जाएगा। उन्होंने कहा कि आज के दिन मिलेट अनाज में शामिल ज्वार, बाजरा, कोदों, कुटकी, कंगनी, चीना, रागी, सांवा का खाने में उपयोग के हिसाब से काफी महत्व है। ऐसे अनाज से मनुष्य स्वस्थ बने रहते हैं। किसानों को मोटे अनाज के पोषण तत्वों की विशेषताओं की जानकारी जरूरी है। इसके उपयोग से शुगर और ब्लड प्रेशर जैसी बीमारियों से बचा जा सकता है। उन्होंने कहा कि यह वाहन लोगों को मोटे अनाज का प्रयोग करने के लिए जागरूक करेगा।
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